- पूरे संसार के साथ इंदौर भी मनाएगा कार मुक्त दिवस, प्रदूषण मे आएगी बड़ी कमी
- साल मे एक दिन ही नहीं कई बार मनाया जाना चाहिए ”नो कार डे”
Jai Hind News, Indore
निजी वाहन के उपयोगकर्ताओं को एक दिन के लिए अपनी कार नहीं चलाने के लिए प्रोत्साहित करने के लिए दुनिया भर में हर साल 22 सितंबर को वैश्विक कार-मुक्त दिवस मनाया जाता है। यह वृहद आयोजन वायु प्रदूषण को कम करने में सहायता करता है। आंकड़े बताते हैं कि औसतन एक कार प्रति किलोमीटर लगभग 123 ग्राम कार्बन डाइऑक्साइड उत्सर्जित करती है।
जकार्ता, इंडोनेशिया में साप्ताहिक कार-मुक्त दिवस सफल
इस तरह सम्पूर्ण विश्व में सड़कों पर करोड़ों कारों का परिचालन स्वैच्छिक रूप से बंद करके, इस जहरीली गैस के उत्सर्जन में उल्लेखनीय कमी हासिल की जा सकती है। जकार्ता, इंडोनेशिया के नागरिकों ने साप्ताहिक कार-मुक्त दिवस को सफलतापूर्वक लागू किया है, जिसके परिणामस्वरूप उनकी वायु गुणवत्ता में बड़ा सुधार हुआ है। ये पहल व्यक्तियों को परिवहन के वैकल्पिक साधनों, जैसे साइकिल चलाना, पैदल चलना या सार्वजनिक परिवहन का उपयोग करने के लिए प्रोत्साहित करती हैं, जिससे निजी वाहनों पर निर्भरता कम होती है और प्रदूषक उत्सर्जन में कमी आती है।
1990 के दशक से आइसलैंड, यूके में कार-मुक्त दिनों का आयोजन
कार के प्रभुत्व वाले समाज में करोड़ों कारों द्वारा मुक्त रूप से फैलाये जा रहे हानिकारक प्रदूषण के बारे में जागरूकता फैलाने और कार के विकल्प खोजने की जरूरत पर जोर देने के लिए दुनिया भर में कई कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं। बढ़ते वायु प्रदूषण से चिंतित होकर 1990 के दशक से आइसलैंड, यूके आदि कई देशों में अनौपचारिक रूप से कार-मुक्त दिनों का आयोजन किया जा रहा है। लेकिन सन 2000 में कार्बस्टर्स (अब वर्ल्ड कार-फ्री नेटवर्क) द्वारा शुरू किए गए वर्ल्ड कार-फ्री डे के साथ इस अभियान को वैश्विक पहचान मिली।
इंदौर में मिल रहा अभूतपूर्व समर्थन
इसी बात से प्रेरणा लेकर देश के सबसे स्वच्छ शहर इंदौर के लोकप्रिय युवा महापौर पुष्यमित्र भार्गव ने अब शहर की आबोहवा को भी स्वच्छ बनाने की दिशा में प्रयास किया है। शहर में वायु प्रदूषण के साथ ही वाहनों का दबाव कम करने और भविष्य में सार्वजनिक ट्रांसपोर्ट की स्वीकार्यता बढ़ाने के लिए इंदौर में यह अनूठा प्रयोग किया जा रहा है। शहर में एक दिन वायु प्रदूषण में कमी लाने के लिए महापौर की इस कार मुक्त दिवस मनाने की अपील को अभूतपूर्व समर्थन मिल रहा है। नगर निगम के अलावा अन्य सरकारी एजेंसियों, स्वयंसेवी संस्थाओं, व्यापारिक संगठनों, नागरिक समूहों आदि ने कार मुक्त दिवस मनाने की घोषणा की है। इस सामूहिक अपील के चलते शहर में उत्सवी माहौल बना हुआ है और शहर भर के लोग 22 सितंबर को “नो कार डे” मनाने जा रहे हैं। इस दिन इंदौर वाले कार की सवारी से परहेज करेंगे और पर्यावरण सुधार में अपना योगदान देने के इस महाअभियान में बढ़ – चढ़ कर हिस्सा लेंगे।
(ये लेख व आंकड़े लेखक के निजी विचार और जानकारी पर आधारित है।)